परीक्षा केन्द्रों में सिख ककारों की बेअदबी बर्दाशत नहीं करेंगे: जी.के.
नई दिल्ली,2 मई,आकाश द्विवेदी। हरियाणा कर्मचारी चयन आयोग की अम्बाला में कल हुई परीक्षा के दौरान सिख परीक्षार्थियों के ककार (धार्मिक प्रतीक चिन्ह) उतरवा करके परीक्षा देने के लिए मजबूर करने के मसले पर दिल्ली सिख गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी ने कड़ा नोटिस लिया है। कमेटी अध्यक्ष मनजीत सिंह जी.के. एवं महासचिव मनजिन्दर सिंह सिरसा ने हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर को इस मसले पर लिखे पत्र में इस दुर्भाग्यपूर्ण घटना के दोषी अधिकारियों के खिलाफ जरूरी कार्यवाही करने की मांग की है।
घटना की जानकारी देते हुए कमेटी प्रबंधकों ने बताया कि कल सरकारी तकनीकी संस्थान अम्बाला में पटवारी की परीक्षा के दौरान जहां परीक्षार्थी सुखविन्दर सिंह की कृपाण उतरवाई गई है वही रूपिन्दर सिंह के ईलावा दर्जन भर सिख नौजवानों के कड़े उतरवा के उन लोगों को परीक्षा केन्द्र में दाखिल होने दिया गया। जबकि एक और अमृतधारी सिख नौजवान कर्णवीर सिंह को जब कृपाण उतारने के लिए मजबूर किया गया तो उसने इस आदेश को मानने से इन्कार करते हुए स्थानीय शिरोमणी कमेटी सदस्य एवं अकाली नेताओं को मौके पर बुला लिया। जिसके बाद मौके पर पहुंचे एस.डी.एम. शक्ति सिंह एवं ए.सी.पी. राजकुमार ने देरी से कर्णवीर सिंह को परीक्षा देने के लिए अन्दर जाने की स्वीकृति दे दी।
जी.के. ने इस मसले के दोषी परीक्षा केन्द्र प्रमुख फकीर चंद एवं ए.एस.आई. रमेश चंद की तुरन्त बर्खास्तगी की मांग करते हुए खट्टर को भारतीय संविधान की धारा 25(2) के तहत सिखों को सिखों की धार्मिक आस्था के प्रतीक ककार पहनने की मिली धार्मिक आजादी का भी हवाला दिया है। जी.के. ने इस संबंध में मीडिया में परीक्षा केन्द्र के बाहर गेट पर ककार के टंगे होने की तस्वीर प्रकाशित होने की दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए इस घटना को सरकारों की सिख कौम के बलिदान के प्रति अहसानफरामोशी का प्रतीक भी बताया।
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